श्राद का महत्व

महाभारत के युद्ध खत्म होने पश्चाद जब कर्ण स्वर्ग में गये तो वहां पर उन्हें खूब सोना, चांदी ,जेवरात मिलते थे पर कभी खाना नहीं मिलता था , इसका कारण पूछने के लिए कर्ण स्वर्ग के राजा इंद्रदेव के पास गए व् कारण पूछा तो इंद्रदेव ने कहा हे कर्ण तुम बड़े दानवीर थे तुमने बहुत सोना, चांदी व् आभूषण दान में दिए है फल स्वरूप स्वर्ग में तुम्हें मिल रहा पर परन्तु तुमने कभी भोजन का दान नहीं दिया और न ही कभी अपने पूर्वजो को भोजन अर्पित किया इसलिए तुम्हे केवल स्वर्ग में सोना, चांदी ,जेवरात ही मिल रहे है |

कर्ण ने कहा महाराज पूर्वजो की पहचान से अनजान होने के कारण मैं यह कार्य नहीं कर सका इस पर इंद्रदेव ने 15 दिन का समय कर्ण को पृथ्वी लोक पर जा जाकर अपने पूर्वजो का उद्दार करने के लिए दिया |

उसी दिन से कर्ण को दिए गए 15 दिन पृथ्वी लोक पर श्राद के रूप में मनाये जाते हैं मान्यता है की इन दिनों पूर्वज देवलोक को छोड़ कर पृथ्वी में अपने परिवार के साथ घर में रहते हैं इसलिए इनदिनों रात्रि में दीपक जलाने की परम्परा हैं
इस साल 2023 में श्रादो की दिन इस प्रकार हैं

दिनांक दिन तिथि/श्राद्ध


29 सितंबर 2023 शुक्रवार पूर्णिमा श्राद्ध
29 सितंबर 2023 शुक्रवार प्रतिपदा श्राद्ध
30 सितंबर 2023 शनिवार द्वितीया श्राद्ध
01 अक्टूबर 2023 रविवार तृतीया श्राद्ध
02 अक्टूबर 2023 सोमवार चतुर्थी श्राद्ध
03 अक्टूबर 2023 मंगलवार पंचमी श्राद्ध
04 अक्टूबर 2023 बुधवार षष्ठी श्राद्ध
05 अक्टूबर 2023 गुरुवार सप्तमी श्राद्ध
06 अक्टूबर 2023 शुक्रवार अष्टमी श्राद्ध
07 अक्टूबर 2023 शनिवार नवमी श्राद्ध
08 अक्टूबर 2023 रविवार दशमी श्राद्ध
09 अक्टूबर 2023 सोमवार एकादशी श्राद्ध
11 अक्टूबर 2023 बुधवार द्वादशी श्राद्ध
12 अक्टूबर 2023 गुरुवार त्रयोदशी श्राद्ध
13 अक्टूबर 2023 शुक्रवार चतुर्दशी श्राद्ध
14 अक्टूबर 2023 शनिवार सर्व पितृ अमावस्या

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